hindi Best Anything Books Free And Download PDF

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Anything in hindi books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and cultures....Read More


Languages
Categories
Featured Books

प्रौद्योगिकी शासन भारत में एक नये आधुनिक युग की शुरुआत By Yashraj Bais

आज हर एक चीज़ केवल आपके मोबाइल या लैपटॉप के एक क्लिक पर संभव है, भले ही वो बैंक से बड़े से बड़े पेमेंट करना हो या ट्रेन या हवाई जहाज़ में सीट का आरक्षण करवाना हो, इस आधुनिकता ने हर...

Read Free

इधर उधर की - 5 By Kishanlal Sharma

मैं अकेला उनके चेम्बर के बाहर खड़ा था।वह लंच खत्म होने पर आए।उस समय उतर पश्चिम रेलवे के सी सी एम विजय कुमार थे।उनसे मिलने के लिये लोग आ जा रहे थे।वह भी दो तीन बार निकलकर बाथ रूम  गए...

Read Free

Shyari form Guri Baba - 1 By Guri baba

"दिल के कोने में एक ग़म छुपा बैठा हूँ,जिसे हर पल अपने साथ लेकर चलता हूँ।कभी सोचा था खुश रहेंगे हम,पर अब हर रास्ता सिर्फ तुमसे जुड़ता है।""जब से तुमने मुझसे बातें दूर की,मैंने अपनी...

Read Free

जिंदगी के रंग हजार - 18 By Kishanlal Sharma

भारतीय रेलवे का ट्रेन संचालनरेल का अपना अलग नेटवर्क है और ट्रेन संचालन कंट्रोल के माध्यम से किया जाता है।कंट्रोल ही तय करता है कौनसी ट्रेन चलेगी।कौनसी खड़ी रहेगी।कौनसी ट्रेन का क्रा...

Read Free

पहली ग्रामोफोन रिकॉर्ड वाली गायिका गौहर जान By S Sinha

                                 पहली ग्रामोफोन रिकॉर्ड वाली गायिका गौहर जान  बहुत ही कम लोगों को पता होगा कि भारत की पहली गायिका जिसकी रिकॉर्डिंग सबसे पहले  हुई थी वह कौन थी  . पु...

Read Free

पतंग उड़ायें पर सावधानी से By S Sinha

                                               पतंग उड़ायें पर सावधानी से     पतंगबाज़ी का मौसम आ रहा है  .यूँ तो पतंग उड़ाना महज एक खेल और मनोरंजन का साधन है जिसमें कम खर्च में भरपूर...

Read Free

वह कौन था By Sharovan

वह कौन था ? / कहानीएक सत्य घटना पर आधारित कहानी /शरोवन***'अरे यह थापा है बड़ा ही काम का आदमी. हम स्टूडेंट्स की तो बहुत ही हेल्प कर देता है. बहुत इमानदार भी है, मगर उसमें दो ही क...

Read Free

घटिया टाइप लफंगों को प्रमोट करते सीरिअल By Review wala

घटिया सीरियल जेसे bigg boss के किरदार लफंगे हों तो उसे देखना एक अलग ही अनुभव हो सकता है। आइए, इस पर एक हास्य व्यंग्य लिखते हैं:घटिया सीरियल और लफंगे किरदार: एक अनोखा अनुभवआजकल के स...

Read Free

मनस्वी - भाग 11 By Dr. Suryapal Singh

अनुच्छेद-ग्यारह                           चिड़िया उड़ गईरात का पिछला प्रहर। पंखे की गति थोड़ी तेज हो गई है। मनु की भी साँस बढ़ गई है। माँ की आँख खुलती है। वह जाकर मनु को देखती है।...

Read Free

Aqi से देहाती ड्राइविंग से रोजी रोटी तक.. मेरा देश By Review wala

आधुनिकता का पैमाना आधुनिकता की चकाचौंध में,शहर की जनता खो रही है।आकर्षण में बंधी हुई,अपनी बर्बादी बो रही है।ए.क्यू.आई. बढ़ता जाता,सांसों में घुलता जहर।प्रकृति की पुकार अनसुनी,हम बढ...

Read Free

न काम के न काज के. घन्टा बजाते रहो बस By Review wala

नेता लोग काम करें या न करें, पर जनता को यह महसूस होना चाहिए कि वे काम कर रहे हैं। यह बात कुछ ऐसी है जैसे किसी फिल्म में हीरो का दिखना जरूरी है, चाहे वह असल में कुछ करे या न करे। आइ...

Read Free

मंजिले - भाग 8 By Neeraj Sharma

            ------- (सच बोल रहे हो ) ----                आयो कुछ याद करा दू, हमने जो ज़ख्म खाये है, वो और नहीं हमारे लोग है। कितना सच बोल  सकते हो, बोलो। प्रयास करो, खुल कर बोलो,, ब...

Read Free

ऐलान ए जंग By ABHAY SINGH

क्या यह ऐलान ए जंग है?खरगे साहब ने कहा कि वे बैलट पेपर से चुनाव चाहते हैं। ऐसी बयानी बातें पहले भी आई, पर कोई ठोस रणनीतिक कदम नही । क्योकि ये करना आसान भी नही।  ●●कांग्रेस इस मांग...

Read Free

जो पकड़ा जाए वो चोर. बाकी चरित्रवान By Review wala

जो पकड़ा जाए वो चोर, बाकी देश भक्तये कैसा न्याय है, ये कैसा विध्वंस हैजो बोले सच वो देशद्रोही, जो छुपाए झूठ वो देशहितैषीये कैसा लोजिक है, ये कैसा तर्क हैजो पकड़ा जाए वो चोर, बाकी द...

Read Free

संवाद By Kishanlal Sharma

(नैतिकता अनैतिकता के प्रश्नों को रेखांकित करती पौराणिक प्रसंग पर आधारित काल्पनिक कथा)मैं सुहागसेज पर घूँघट निकालकर बैठी पति के आने का इन तजार कर रही थी।प्रथम मिलन की रात्रि मन मे उ...

Read Free

सरकारी समाचार जलेबी जेसे By Review wala

सरकारी समाचार खुशी देते हैं ( जलेबी जैसे टेढ़े मेढे समाचार,मीठे भी)आज पूरे देश मे सूर्य खिला हुआ है,बारिश के आसार नही हैं ,पर विपक्ष इस पर अफवाहे फेला रहा हैहर तरफ मस्ती छाई हैपक्ष...

Read Free

स्वच्छ भ्रष्टाचार पर कुछ घटिया रचनाएँ By Review wala

य़ह  व्यंग्यात्मक कविता है जो भ्रष्टाचार पर आधारित है:भ्रष्टाचार का खेलनेता और अफसर का, समझौता है निराला,भ्रष्टाचार की गंगा में, सबने हाथ डाला।जनता की सेवा का, करते हैं ये दावा,पर...

Read Free

बिक गए हैं जो वो सवाल. नहीं पूछते By Review wala

(लॉजिक सो रही हैं हमारी आपकी  और मीडिया की)हम लोगों में एक कमी है जो आजकल अधिक दिख रही है,मीडिया जैसे नशे में है,कोई भी पृष्ण नहीं!आंकड़े अलग थलग करके देख के खुश होते हैं या दुखी भ...

Read Free

टूटी फूटी कहानियों का संग्रह - भाग 6 By Sonu Kasana

तीन भाइयों का जीवन का ज्ञानप्राचीन समय की बात है। एक गाँव में तीन भाई—विजय, विक्रम और वासुदेव—अपने माता-पिता के साथ रहते थे। तीनों भाई अपने पिता से विद्या प्राप्त करना चाहते थे और...

Read Free

रेत के घरौंदे सा By DINESH KUMAR KEER

1.शादी का शौक नही है साहब... बुरा लगता है :- मेरी वजह से किसी का बेटा अभी तक कुवारा बैठा है...! 2.कब आपकी आँखों में हमें मिलेगी पनाह,चाहे इसे समझो दिल्लगी या समझो गुनाह,अब भले ही ह...

Read Free

फिजा में हरियाली तुमसे है By DINESH KUMAR KEER

1.कोई पूछे तो भी तेरे किस्से बयाँ नहीं करते, हम अपने दिल की बातें यहाँ वहाँ नहीं करते...!2.सुनो... बहुत सारी बातें जमा हो गयी है करने को तुमसे, मेरे लिए तुम... एक दिन इतवार हो जाओ...

Read Free

आपकी नजरों ने समझा By DINESH KUMAR KEER

1.साथ रहते यूँ ही वक़्त गुजर जायेगा,दूर होने के बाद कौन किसे याद आयेगा,जी लो ये पल जब हम साथ हैं दोस्तों,कल क्या पता वक़्त कहाँ ले के जायेगा...2.मेरे दिल का दर्द किसने देखा है, मुझे...

Read Free

यूंही अच्छे लगते हो By DINESH KUMAR KEER

1."पाने की तलब है ही कहां""हम तो बस तुझे खोने से डरते हैं"2.बहुत खूबसूरत है, तेरे इन्तजार का आलम... बेकरार सी आँखों में इश्क बेहिसाब लिए बैठे हैं...!3.कितनो को पसंद थी तुम पर,मेरी...

Read Free

सांसों में बसे हो तुम By DINESH KUMAR KEER

1.दूरी ने कर दिया है तुझे और भी करीबतेरा ख्याल' आ कर न जाये तो क्या करें2.मोहब्बत का हसीन पैगाम लिख दू क्या,गजब की शाम है तुम्हारे नाम लिख दू क्या...3.हम भी अब मोहब्बत के गीत ग...

Read Free

रिश्ता अनोखा सरलता का By DINESH KUMAR KEER

1.ऐसा ना हो कि,तुम्हें जब मेरी आदत होने लगे,अपने आस पास,मुझे ढूंढने की,कवायद होने लगे...2.इन सुलगते रास्तों पर मैं अब्र बिखरा रही हूं,अपने हिस्से का सारा सब्र बिखरा रही हूं,बिखरा र...

Read Free

देखो फूल रूठ गए By DINESH KUMAR KEER

1.जिस राह पर अब हम हैं,घर तुम्हारा पीछे छूट गया,शीशे का महल था,शब्द कंकरों से,छन से टूट गया...2.बाज़ार का हुस्न भी कुछ कम नहीं,रंगो और साजो सामान से भरा है,अपनी ही कहानी कहता है,और...

Read Free

किस्मत ने बांधा (एक डोर से) By DINESH KUMAR KEER

1.आज रास्ते में देखा उसे,सब बदला बदला सा लगा,वो जो सबकुछ हुआ करता था कभी,दुनियां की तरह अजनबी सा लगा,रात दिन जिसकी आस रहती थी कभी,वो अब मुझे मेरी तिश्नगी नहीं लगा...2.एक सहारा तुम्...

Read Free

चलो मुस्कुरा दो अब By DINESH KUMAR KEER

1.अपनी अच्छाई पे तुम भरोसा रखना,बंद मत करना खुद को,किसी कमरे में,बंद कमरे में भी अपने लिए,खुला एक झरोखा रखना,बहुत रोकेंगे लोग तुम्हें,हंसने मुस्कुराने से,तुम रुकना नहीं किसी भी हाल...

Read Free

किस्मत की डोरी से बंधे दिल By DINESH KUMAR KEER

1.किसी के रंग में रंगने से अच्छा है, अपनी पसंद के रंगों का ख्याल रखो, बेरंग ना हो जाओ बस यूँ ही किसी की ख़ातिर, तुम अपनी पसंद ना पसंद से प्यार रखो...2.वो शख्स बड़ा ही दिलदार था,दिल...

Read Free

तू है मेरी जिन्दगी By DINESH KUMAR KEER

1.इश्क की गहराइयों में खोकर,दिल की हर धड़कन उसे याद करती है।प्यार की बातों में गुम हो जाना,वही सच्चा इश्क है, जो दिल को बेखुद बना देता है।2.ख्वाबों की दुनिया में खोकर,तेरी बाहों मे...

Read Free

कांटे भी नहीं चुभते By DINESH KUMAR KEER

1.किस हद तक इंतजार करें कोई, गुलाब कब तक ताज़ा रहेगा... आखिर ?2.वो हमसें जुदा होकर ग़ैरों पे फिदा हो गएक्या वाक़ई मोहब्बत के ऐसे ख़ुदा होते हैं,3.गुजर रही है ये जिन्दगी बड़े ही नाजुक...

Read Free

तन मेरा महका है By DINESH KUMAR KEER

1.तन मेरा महका है जब - जब ख़्याल तुम्हारा महका है, इत्र से भला क्या काम मुझे अब तुम्हारा जिक्र ऐसा है...!!2.निहार रहे हैं तुम्हें बिना पलक झपकाये,क्या पता तुमसे कब नजर मिल जाये...!...

Read Free

प्रौद्योगिकी शासन भारत में एक नये आधुनिक युग की शुरुआत By Yashraj Bais

आज हर एक चीज़ केवल आपके मोबाइल या लैपटॉप के एक क्लिक पर संभव है, भले ही वो बैंक से बड़े से बड़े पेमेंट करना हो या ट्रेन या हवाई जहाज़ में सीट का आरक्षण करवाना हो, इस आधुनिकता ने हर...

Read Free

इधर उधर की - 5 By Kishanlal Sharma

मैं अकेला उनके चेम्बर के बाहर खड़ा था।वह लंच खत्म होने पर आए।उस समय उतर पश्चिम रेलवे के सी सी एम विजय कुमार थे।उनसे मिलने के लिये लोग आ जा रहे थे।वह भी दो तीन बार निकलकर बाथ रूम  गए...

Read Free

Shyari form Guri Baba - 1 By Guri baba

"दिल के कोने में एक ग़म छुपा बैठा हूँ,जिसे हर पल अपने साथ लेकर चलता हूँ।कभी सोचा था खुश रहेंगे हम,पर अब हर रास्ता सिर्फ तुमसे जुड़ता है।""जब से तुमने मुझसे बातें दूर की,मैंने अपनी...

Read Free

जिंदगी के रंग हजार - 18 By Kishanlal Sharma

भारतीय रेलवे का ट्रेन संचालनरेल का अपना अलग नेटवर्क है और ट्रेन संचालन कंट्रोल के माध्यम से किया जाता है।कंट्रोल ही तय करता है कौनसी ट्रेन चलेगी।कौनसी खड़ी रहेगी।कौनसी ट्रेन का क्रा...

Read Free

पहली ग्रामोफोन रिकॉर्ड वाली गायिका गौहर जान By S Sinha

                                 पहली ग्रामोफोन रिकॉर्ड वाली गायिका गौहर जान  बहुत ही कम लोगों को पता होगा कि भारत की पहली गायिका जिसकी रिकॉर्डिंग सबसे पहले  हुई थी वह कौन थी  . पु...

Read Free

पतंग उड़ायें पर सावधानी से By S Sinha

                                               पतंग उड़ायें पर सावधानी से     पतंगबाज़ी का मौसम आ रहा है  .यूँ तो पतंग उड़ाना महज एक खेल और मनोरंजन का साधन है जिसमें कम खर्च में भरपूर...

Read Free

वह कौन था By Sharovan

वह कौन था ? / कहानीएक सत्य घटना पर आधारित कहानी /शरोवन***'अरे यह थापा है बड़ा ही काम का आदमी. हम स्टूडेंट्स की तो बहुत ही हेल्प कर देता है. बहुत इमानदार भी है, मगर उसमें दो ही क...

Read Free

घटिया टाइप लफंगों को प्रमोट करते सीरिअल By Review wala

घटिया सीरियल जेसे bigg boss के किरदार लफंगे हों तो उसे देखना एक अलग ही अनुभव हो सकता है। आइए, इस पर एक हास्य व्यंग्य लिखते हैं:घटिया सीरियल और लफंगे किरदार: एक अनोखा अनुभवआजकल के स...

Read Free

मनस्वी - भाग 11 By Dr. Suryapal Singh

अनुच्छेद-ग्यारह                           चिड़िया उड़ गईरात का पिछला प्रहर। पंखे की गति थोड़ी तेज हो गई है। मनु की भी साँस बढ़ गई है। माँ की आँख खुलती है। वह जाकर मनु को देखती है।...

Read Free

Aqi से देहाती ड्राइविंग से रोजी रोटी तक.. मेरा देश By Review wala

आधुनिकता का पैमाना आधुनिकता की चकाचौंध में,शहर की जनता खो रही है।आकर्षण में बंधी हुई,अपनी बर्बादी बो रही है।ए.क्यू.आई. बढ़ता जाता,सांसों में घुलता जहर।प्रकृति की पुकार अनसुनी,हम बढ...

Read Free

न काम के न काज के. घन्टा बजाते रहो बस By Review wala

नेता लोग काम करें या न करें, पर जनता को यह महसूस होना चाहिए कि वे काम कर रहे हैं। यह बात कुछ ऐसी है जैसे किसी फिल्म में हीरो का दिखना जरूरी है, चाहे वह असल में कुछ करे या न करे। आइ...

Read Free

मंजिले - भाग 8 By Neeraj Sharma

            ------- (सच बोल रहे हो ) ----                आयो कुछ याद करा दू, हमने जो ज़ख्म खाये है, वो और नहीं हमारे लोग है। कितना सच बोल  सकते हो, बोलो। प्रयास करो, खुल कर बोलो,, ब...

Read Free

ऐलान ए जंग By ABHAY SINGH

क्या यह ऐलान ए जंग है?खरगे साहब ने कहा कि वे बैलट पेपर से चुनाव चाहते हैं। ऐसी बयानी बातें पहले भी आई, पर कोई ठोस रणनीतिक कदम नही । क्योकि ये करना आसान भी नही।  ●●कांग्रेस इस मांग...

Read Free

जो पकड़ा जाए वो चोर. बाकी चरित्रवान By Review wala

जो पकड़ा जाए वो चोर, बाकी देश भक्तये कैसा न्याय है, ये कैसा विध्वंस हैजो बोले सच वो देशद्रोही, जो छुपाए झूठ वो देशहितैषीये कैसा लोजिक है, ये कैसा तर्क हैजो पकड़ा जाए वो चोर, बाकी द...

Read Free

संवाद By Kishanlal Sharma

(नैतिकता अनैतिकता के प्रश्नों को रेखांकित करती पौराणिक प्रसंग पर आधारित काल्पनिक कथा)मैं सुहागसेज पर घूँघट निकालकर बैठी पति के आने का इन तजार कर रही थी।प्रथम मिलन की रात्रि मन मे उ...

Read Free

सरकारी समाचार जलेबी जेसे By Review wala

सरकारी समाचार खुशी देते हैं ( जलेबी जैसे टेढ़े मेढे समाचार,मीठे भी)आज पूरे देश मे सूर्य खिला हुआ है,बारिश के आसार नही हैं ,पर विपक्ष इस पर अफवाहे फेला रहा हैहर तरफ मस्ती छाई हैपक्ष...

Read Free

स्वच्छ भ्रष्टाचार पर कुछ घटिया रचनाएँ By Review wala

य़ह  व्यंग्यात्मक कविता है जो भ्रष्टाचार पर आधारित है:भ्रष्टाचार का खेलनेता और अफसर का, समझौता है निराला,भ्रष्टाचार की गंगा में, सबने हाथ डाला।जनता की सेवा का, करते हैं ये दावा,पर...

Read Free

बिक गए हैं जो वो सवाल. नहीं पूछते By Review wala

(लॉजिक सो रही हैं हमारी आपकी  और मीडिया की)हम लोगों में एक कमी है जो आजकल अधिक दिख रही है,मीडिया जैसे नशे में है,कोई भी पृष्ण नहीं!आंकड़े अलग थलग करके देख के खुश होते हैं या दुखी भ...

Read Free

टूटी फूटी कहानियों का संग्रह - भाग 6 By Sonu Kasana

तीन भाइयों का जीवन का ज्ञानप्राचीन समय की बात है। एक गाँव में तीन भाई—विजय, विक्रम और वासुदेव—अपने माता-पिता के साथ रहते थे। तीनों भाई अपने पिता से विद्या प्राप्त करना चाहते थे और...

Read Free

रेत के घरौंदे सा By DINESH KUMAR KEER

1.शादी का शौक नही है साहब... बुरा लगता है :- मेरी वजह से किसी का बेटा अभी तक कुवारा बैठा है...! 2.कब आपकी आँखों में हमें मिलेगी पनाह,चाहे इसे समझो दिल्लगी या समझो गुनाह,अब भले ही ह...

Read Free

फिजा में हरियाली तुमसे है By DINESH KUMAR KEER

1.कोई पूछे तो भी तेरे किस्से बयाँ नहीं करते, हम अपने दिल की बातें यहाँ वहाँ नहीं करते...!2.सुनो... बहुत सारी बातें जमा हो गयी है करने को तुमसे, मेरे लिए तुम... एक दिन इतवार हो जाओ...

Read Free

आपकी नजरों ने समझा By DINESH KUMAR KEER

1.साथ रहते यूँ ही वक़्त गुजर जायेगा,दूर होने के बाद कौन किसे याद आयेगा,जी लो ये पल जब हम साथ हैं दोस्तों,कल क्या पता वक़्त कहाँ ले के जायेगा...2.मेरे दिल का दर्द किसने देखा है, मुझे...

Read Free

यूंही अच्छे लगते हो By DINESH KUMAR KEER

1."पाने की तलब है ही कहां""हम तो बस तुझे खोने से डरते हैं"2.बहुत खूबसूरत है, तेरे इन्तजार का आलम... बेकरार सी आँखों में इश्क बेहिसाब लिए बैठे हैं...!3.कितनो को पसंद थी तुम पर,मेरी...

Read Free

सांसों में बसे हो तुम By DINESH KUMAR KEER

1.दूरी ने कर दिया है तुझे और भी करीबतेरा ख्याल' आ कर न जाये तो क्या करें2.मोहब्बत का हसीन पैगाम लिख दू क्या,गजब की शाम है तुम्हारे नाम लिख दू क्या...3.हम भी अब मोहब्बत के गीत ग...

Read Free

रिश्ता अनोखा सरलता का By DINESH KUMAR KEER

1.ऐसा ना हो कि,तुम्हें जब मेरी आदत होने लगे,अपने आस पास,मुझे ढूंढने की,कवायद होने लगे...2.इन सुलगते रास्तों पर मैं अब्र बिखरा रही हूं,अपने हिस्से का सारा सब्र बिखरा रही हूं,बिखरा र...

Read Free

देखो फूल रूठ गए By DINESH KUMAR KEER

1.जिस राह पर अब हम हैं,घर तुम्हारा पीछे छूट गया,शीशे का महल था,शब्द कंकरों से,छन से टूट गया...2.बाज़ार का हुस्न भी कुछ कम नहीं,रंगो और साजो सामान से भरा है,अपनी ही कहानी कहता है,और...

Read Free

किस्मत ने बांधा (एक डोर से) By DINESH KUMAR KEER

1.आज रास्ते में देखा उसे,सब बदला बदला सा लगा,वो जो सबकुछ हुआ करता था कभी,दुनियां की तरह अजनबी सा लगा,रात दिन जिसकी आस रहती थी कभी,वो अब मुझे मेरी तिश्नगी नहीं लगा...2.एक सहारा तुम्...

Read Free

चलो मुस्कुरा दो अब By DINESH KUMAR KEER

1.अपनी अच्छाई पे तुम भरोसा रखना,बंद मत करना खुद को,किसी कमरे में,बंद कमरे में भी अपने लिए,खुला एक झरोखा रखना,बहुत रोकेंगे लोग तुम्हें,हंसने मुस्कुराने से,तुम रुकना नहीं किसी भी हाल...

Read Free

किस्मत की डोरी से बंधे दिल By DINESH KUMAR KEER

1.किसी के रंग में रंगने से अच्छा है, अपनी पसंद के रंगों का ख्याल रखो, बेरंग ना हो जाओ बस यूँ ही किसी की ख़ातिर, तुम अपनी पसंद ना पसंद से प्यार रखो...2.वो शख्स बड़ा ही दिलदार था,दिल...

Read Free

तू है मेरी जिन्दगी By DINESH KUMAR KEER

1.इश्क की गहराइयों में खोकर,दिल की हर धड़कन उसे याद करती है।प्यार की बातों में गुम हो जाना,वही सच्चा इश्क है, जो दिल को बेखुद बना देता है।2.ख्वाबों की दुनिया में खोकर,तेरी बाहों मे...

Read Free

कांटे भी नहीं चुभते By DINESH KUMAR KEER

1.किस हद तक इंतजार करें कोई, गुलाब कब तक ताज़ा रहेगा... आखिर ?2.वो हमसें जुदा होकर ग़ैरों पे फिदा हो गएक्या वाक़ई मोहब्बत के ऐसे ख़ुदा होते हैं,3.गुजर रही है ये जिन्दगी बड़े ही नाजुक...

Read Free

तन मेरा महका है By DINESH KUMAR KEER

1.तन मेरा महका है जब - जब ख़्याल तुम्हारा महका है, इत्र से भला क्या काम मुझे अब तुम्हारा जिक्र ऐसा है...!!2.निहार रहे हैं तुम्हें बिना पलक झपकाये,क्या पता तुमसे कब नजर मिल जाये...!...

Read Free